वायु प्रदूषण की वजह से न केवल आम जन-जीवन प्रभावित हुआ है. बल्कि इससे कारोबारियों का भी बुरा हाल हो गया है. दिल्ली और इससे सटे इलाकों जैसे पंजाब और हरियाणा में लघु और मध्यम उद्योग प्रदूषण की मार झेल रहा है. नार्थ इंडिया के इन राज्यों में एमएसएमई प्रोडक्शन में भारी गिरावट हुई है. इससे साथ ही सप्लाई चेन भी प्रभावित हुई है. पीएचडी चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री के अनुमान के मुताबिक पंजाब, हरियाणा और दिल्ली में करीब 35 लाख रुपये का सूक्ष्म, लघु और मध्यम कारोबार प्रदूषण के कारण प्रभावित हुआ है.
ईटी की रिपोर्ट के मुताबिक, दिल्ली और एनसीआर रीजन में वायु प्रदूषण को कंट्रोल करने के ग्रैप-4 के तहत लगी पाबंदियों की वजह से सप्लाई बाधित हो रही है. ग्रैप-4 के लागू होने से दिल्ली और एनसीआर रीजन में भारी वाहनों के प्रवेश पर रोक लगी हुई है, जिसके चलते हरियाणा, पंजाब से कंपनियों में बनने वाले उत्पादों की सप्लाई नहीं हो पा रही है. इसके अलावा प्रदूषण के कारण फैक्ट्रियों में काम करने वाले मजदूरों की तबियत खराब हो रही है. वे सही से काम नहीं कर पा रहे हैं, जिसका प्रभाव भी प्रोडक्शन और सप्लाई पर पड़ रहा है.
राजनीतिक वार-पलटवार शुरू
भारत के उत्तरी इलाके यानी दिल्ली-एनसीआर में पिछले कुछ दिनों से धुंध छाई हुई है. दिल्ली के कई इलाकों में एक्यूआई 400 के पार पहुंच गया है. इसके पीछे हरियाणा और पंजाब में जलाई गई पराली और वाहनों से निकलने वाले धुएं को माना जा रहा है. इस पर राजनीति भी खूब हो रही है. दिल्ली की आम-आदमी सरकार पूरे मामले के लिए हरियाणा की बीजेपी सरकार को दोषी बता रही है, तो वहीं, बीजेपी आम आदमी पार्टी को इसका कसूरवार मान रही है.
ऑफिस टाइमिंग में बदलाव
दिल्ली में प्रदूषण का स्तर खतरनाक होता जा रहा है, जिसके चलते सरकारी दफ्तरों की टाइमिंग में बदलाव कर दिया गया है. दिल्ली सरकार के दफ्तरों में सुबह 10 बजे से लेकर शाम 6.30 बजे तक काम होगा. वहीं, MCD के ऑफि सुबह 8.30 बजे से लेकर शाम 5 बजे तक ही खुलेंगे.