उत्तर प्रदेश के पुलिस महानिदेशक (डीजीपी) प्रशांत कुमार 31 मई को सेवानिवृत्त होंगे. आज यानि कि शनिवार को उनका आखिरी दिन होगा. उनके उत्तराधिकारी के लिए कई नामों पर चर्चा हो रही है. लेकिन ऐसी अटकलें भी हैं कि राज्य सरकार प्रशांत कुमार को राज्य की कानून-व्यवस्था के मामलों में उनके दशकों के अनुभव को देखते हुए सेवा विस्तार दे सकती है. हालांकि, उन्हें सेवा विस्तार दिया जाएगा या नहीं आज शाम तक पता चल जाएगा.
आज शाम 5 बजे तक ही है डीजीपी प्रशांत कुमार का कार्यकाल
आज शाम 5 बजे तक ही डीजीपी प्रशांत कुमार का कार्यकाल है. ऐसे में सेवा विस्तार या फिर नए डीजीपी के नाम का ऐलान आज ही किया जाएगा. डीजीपी के लिए डायरेक्टर एसपीजी आलोक शर्मा, डीजी बीएसएफ दलजीत चौधरी, डीजी विजिलेंस राजीव कृष्णा का नाम चल रहा है. हालांकि, अगला डीजीपी कौन होगा, इसका फैसला सरकार करेगी.
डीजीपी की नियुक्ति के लिए हाल ही में बना है नया नियम
हाल ही में उत्तर प्रदेश कैबिनेट ने डीजीपी की नियुक्ति को लेकर नया नियम बनाया है. इस नियम के तहत सेवानिवृत्त हाईकोर्ट जज की अध्यक्षता वाली पांच सदस्यीय समिति डीजीपी का चयन करेगी. इस समिति में संघ लोक सेवा आयोग और उत्तर प्रदेश लोक सेवा आयोग के नामित सदस्य, प्रमुख सचिव (गृह) और उत्तर प्रदेश के डीजीपी के पद पर रह चुके अधिकारी शामिल होंगे.
कैबिनेट की मंजूरी मिलने के बावजूद राज्य सरकार अब तक चयन समिति गठित नहीं कर पाई है. नौकरशाही सूत्रों के अनुसार उत्तर प्रदेश के नए डीजीपी के लिए अभी तक केंद्र को कोई पैनल नहीं भेजा गया है. सूत्रों ने बताया कि इस पर 31 मई को फैसला हो सकता है.
पिछले 5 वर्षों से यूपी की कानून व्यवस्था संभाल रहे हैं प्रशांत कुमार
चर्चा है कि प्रशांत कुमार को एक्सटेंशन दिया जा सकता है. पिछले पांच सालों से वे उत्तर प्रदेश की कानून व्यवस्था और पुलिसिंग की जिम्मेदारी संभाल रहे हैं. मई 2020 में सरकार ने प्रशांत कुमार को उत्तर प्रदेश का एडीजी (लॉ एंड ऑर्डर) बनाया था. जब उन्हें डीजी के पद पर प्रमोट किया गया तो उन्हें स्पेशल डीजी (लॉ एंड ऑर्डर) बनाया गया.