ED ने बाहुबली हरिशंकर तिवारी के बेटे और पूर्व विधायक विनय शंकर तिवारी की गिरफ्तारी का मामला गरमाता जा रहा है. इसी बीच सपा प्रमुख अखिलेश यादव ने विनय तिवारी के बड़े भाई भीष्म शंकर उर्फ कुशल तिवारी से मुलाकात की. कुशत तिवारी से मुलाकात के बाद अखिलेश ने बिना किसी का नाम लिए प्रदेश सरकार पर निशाना साधा और कहा कि कुछ लोगों को हाता नहीं भाता.
दरअसल, बैंक के लोन हड़पने के मामले में बाहुबली हरिशंकर तिवारी के बेटे और पूर्व विधायक विनय शंकर तिवारी को ईडी ने गिरफ्तार किया है. इसी मामले के लेकर अखिलेश उनके परिवार से मिलने पहुंचे थे.
अखिलेश यादव ने एक्स पर लिखा, ‘कुछ लोगों को हाता नहीं भाता.’ वहीं, दूसरी ओर कांग्रेस ने भी इस मामले के लेकर प्रदेश सरकार पर निशाना साधा है. कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष अजय राय भी देवरिया में विनय के परिवार से मिलने पहुंचे थे.
‘हमको सरकार पैसा देगी तो हम बैंक को पैसा देंगे’
विनय तिवारी के भाई और पूर्व सांसद कुशल तिवारी ने बातचीत में कहा, बैंक किसी प्रोजेक्ट को फाइनेंस तभी करेगी उसकी भुगतान क्षमता होती है. हमें एक सरकारी प्रोजेक्ट पर बैंक ने फाइनेंस किया था. वह प्रोजेक्ट कंप्लीट हो गया. इसमें कोई दो राय नहीं, बैंक का पैसा बनता है. लेकिन जो काम हुआ उसका भी तो पेमेंट होना चाहिए. सरकार उसका पेमेंट कर नहीं रही है तो हम कैसे बैंक को प्रोजेक्ट का पैसा वापस कर दें. अगर बैंक से लिया गया पैसा कहीं और गया हो तो अपराध है. पैसा सरकार के खाते में है सरकार के खाते से हमारे बैंक खाते में जाएगा. हमने प्रोजेक्ट पूरा किया, हमको सरकार पैसा देगी तो हम बैंक को पैसा देंगे. हमें तो जो बीच में काम करने का पैसा मिलता है वह भी नहीं मिलेगा.
उन्होंने ये भी कहा कि हम सब्सिडी नहीं मांग रहे हैं. हम तो अपना पैसा मांग रहे हैं कि हमारे पैसे का भुगतान कर दें तो हम बैंक का पैसा अदा कर दें. इस मामले में Arbitration हुआ NCLT ने भी सुना और दोनों पक्षों को सुनने के बाद अपना फैसला दिया. अब उस फैसले के विरोध में बैंक वाले अपील में गए हैं, इसमें कहां अपराधिक घटना हो गई है.
‘हमारे लिए भगोड़ा शब्द का इस्तेमाल’
उन्होंने आगे कहा कि हमारे खिलाफ भगोड़ा शब्द का इस्तेमाल हो रहा है, फ्रॉड शब्द का इस्तेमाल हो रहा है. हम मना नहीं कर रहे हैं कि बैंक का पैसा नहीं है. हम तो कह रहे हैं कि बैंक का पैसा बाकी है, लेकिन सरकार हमारा पैसा दे तो हम बैंक का पैसा दें.
उन्होंने कहा कि हम लोगों पर राजनीतिक विद्वेष की भावना से इस तरह की कार्रवाई की जा रही है. प्रजातंत्र की जो व्यवस्था है वह जनता के लिए बना है… यह राजतंत्र नहीं है. इस व्यवस्था में सरकार सबकी होती हैं. एक जीतता है एक हार जाता है, लेकिन जो जीत जाता है तो क्या अपने विपक्षी को रहने नहीं देगा. उसको कार्य नहीं करने देगा.
कुशल तिवारी ने लखये भी कहा कि पहले लोग वर्दी से डरते हैं कोई थाने नहीं जाना चाहता. हम ED को सारे कागजात दे चुके हैं. उसके बाद भी अगर बुलाना है तो कोई शॉर्ट नोटिस पर कैसे आएगा. कोई बेंगलुरु में है, कोई गांव में है और अगर कोई नहीं पहुंच रहा है तो हिदायत दीजिए